लखनऊ (मानवी मीडिया) लखनऊ विकास प्राधिकरण के उपाध्यक्ष डाॅ0 इन्द्र मणि त्रिपाठी ने मंगलवार को जनहित गारण्टी अधिनियम से सम्बंधित प्रकरणों को लेकर समीक्षा बैठक की। इस दौरान उन्होंने समस्त अनुभाग के अधिकारियों व कर्मचारियों को हिदायत दी कि कोई भी फाइल एक पटल पर तीन दिन से ज्यादा समय तक लंबित न रहे। इसमें किसी भी तरह की लापरवाही सामने आने पर सम्बंधित अधिकारी/कर्मचारी का उत्तरदायित्व निर्धारित किया जाएगा। उपाध्यक्ष ने कहा कि अगर कोई फरियादी अपने काम के लिए प्राधिकरण आता है तो उसका कार्य प्राथमिकता के आधार पर नियमानुसार निस्तारित किया जाए। अगर फरियादी को दो बार से ज्यादा प्राधिकरण कार्यालय के चक्कर लगाने पडे तो सम्बंधित कर्मचारी के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। बैठक में सचिव पवन कुमार गंगवार व वित्त नियंत्रक दीपक सिंह समेत अन्य अधिकारी उपस्थित रहे।
बैठक में उपाध्यक्ष डाॅ0 इन्द्र मणि त्रिपाठी द्वारा जनहित गारण्टी अधिनियम से सम्बंधित सेवाओं क्रमशः फ्री-होल्ड, नामान्तरण, रिफण्ड, डुप्लीकेट आर्डर आदि की प्रकरणवार समीक्षा की गई। इसमें पाया गया कि कुछ अनुभागों में फ्री-होल्ड और नामान्तरण से सम्बंधित प्रकरण लंबित हैं। बैठक के दौरान कुछ अधिकारियों द्वारा लंबित प्रकरणों के सम्बंध में वर्तमान स्थिति नहीं बताई जा सकी। इस पर उपाध्यक्ष ने सख्त रवैया अपनाते हुए समस्त लम्बित प्रकरणों को तत्काल निस्तारित कराने के निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि जनहित गारण्टी से सम्बन्धित अनिस्तारित प्रकरणों की समीक्षा हेतु अगली बैठक 2 जुलाई को की जाएगी, तब तक व्यवस्था सुधार लें। उन्होंने निर्देशित किया कि सभी प्रभारी अधिकारी संपत्ति जनहित गारण्टी अधिनियम-2011 के सम्बंध में आवास विभाग द्वारा जारी शासनादेश का अध्यन कर लें और उसी के मुताबिक समयानुसार कार्रवाई सुनिश्चित कराएं।